School love story


 मेरा नाम हर्षवर्धन है आज मैं मेरी एक सच्ची लव स्टोरी school love story आपके साथ शेयर कर रहा हूँ!

इंटर कॉलेज खालिसपुर में 11th में ऐडमिशन हुए मुझे 1 हफ्ते हो चुके थे!

एक दिन मैं कॉलेज जल्दी पहुंच गया था तो यूं ही बालकोनी में  टेक लगाए इधर उधर देख रहा था!

मैं बस से उतरते छोटे बच्चों को मैं बस से उतरते छोटे बच्चों को देखने लगा उस बस में मेरे क्लास के कुछ लड़के दोस्त भी आते थे!

 बच्चे उतर चुके थे मैं बस के गेट पर ही टकटकी लगाये था, फिर जो हुआ उसे.... बयां नहीं किया जा सकता,

एक खूबसूरत लड़की पता नहीं कौन स्कूल ड्रेस (नीली  ड्रेस) पहने उतरी..

 मैं थोड़ा सावधान हुआ उसे देखने के लिए बालकोनी के पर गया!

School love story  "गेट  से बस काफी दूर रुकती थी!

वह गेट की ओर आ रही थी बदलियां छाई थी और ठंडी हवाएं चल रही थी और मैं उस हवा में उड़ रहा था! 

School-love-story

पहली नजर में ही उसे देखने के बाद मन में फिल्मी कल्पनाएं करने लगा!

जैसे नायिका आती है जैसे नायिका आती है और उसके हर कदम हवाओं के झरोखे लाते और नायक आंखें बंद किए उसे महसूस करता है!

 लगभग ऐसी ही स्थिति थी लगभग ऐसी ही स्थिति थी मेरी वह आने की स्कूल में प्रवेश कर चुकी थी!

मैं जल्दी से नीचे भागा मैं जल्दी से नीचे भागा यह देखने के लिए कि  आखिर वह किस क्लास में  जाती है!

मेरी नीचे पहुंचते ही वह ऑफिस में प्रवेश कर गई प्रार्थना की घंटी बजी! आज मेरा दिमाग कहीं और ही था!

    School ki love मजेदार पल


    दोस्तों ने कहा था जो लड़की दूर से अच्छी दिखती है वह पास से होती नहीं है बे..

    मैंने सोचा उसे प्रार्थना के बाद उसे नजदीक से देख देखूंगा लेकिन अभी यह निश्चित नहीं था कि वह किस क्लास में बैठती है!


     प्रार्थना खत्म होने के बाद हम क्लास में आ गए क्योंकि वहां तीन पंक्तियों में बेंच  लगे थे फिर भी मैं लास्ट बेंच स्टूडेंट था!

     क्लास में लड़कियों की लाइन आनी शुरू क्लास में लड़कियों की लाइन आनी शुरू हो गई और फिर मैं जैसे खुशी से पागल हो गया, आंखें फैल गई जब मैं उसे उस लाइन में देखा!

     लंबे खुले बाल, खूबसूरत आंखें गेहूंवा  रंग वाकई खूबसूरत..💃 लग रही थी!

    वह बैठी जिस हिसाब से हम दोनों बैठे थे हमी में सबसे ज्यादा दूरी थी!

    School love story वह पहली बेंच की पहली लाइन पर मैं तीसरी की आखिरी बेंच पे,

    मैं उठा और उसे नजदीक से देखने के लिए बोतल लिए आगे गया, वह सर झुकाए बैग में हाथ डाले कुछ निकाल रही थी!

     वह वाकई  खूबसूरती..थी  बहुत.. 💃.. खूबसूरत! 


     आंखों की चमक पलकों की शान हो.. तुम,

     चेहरे की हंसी लम्हों की मुस्कान 😁 हो... तुम,

     धड़कता है दिल💓 बस तुम्हारी आरजू में,

    फिर कैसे ना कहो कि मेरी जान💃हो तुम!!


    उसे एक नजर देख कर बोतल में पानी भरने नीचे चला गया!

     तो school love story जहाँ से बाहर निकलते ही दांत पीसकर yes yes बोले जा रहा था!

    मुझे ऐसा महसूस हो रहा था मानो मुझे कोई सपनों की रानी मिली गई!

     पानी भरकर क्लास रूम में आया! अपने क्लास टीचर आ गए थे!

    उसका नाम पता चलने वाला था फिर भी मैं उसको गैस किए जा रहा था...., पूजा?, हम्म! नहीं, रानी? हो सकता है!

    या फिर धँनों.... बस इतना फर्जी नाम हा हा हा! इन्हीं  कल्पना में खोया था तब तक अटेंडेंस हो गया!

    सुमन प्रजेंट.. सर, सुमन.. हाँ यही नाम था कितनी मीठी आवाज थी उसकी!

     School love story के हसीन लम्हें


    दिमाग में सुमन नाम को लेकर तोड़ने फोड़ने लगा, सुमन छुं ..ऐसा ही कुछ, आज दिमाग पता नहीं क्यों बचपना हरकत कर रहा था!

    हालांकि क्लास में बहुत से स्मार्ट लड़के थे लेकिन मैं तो थोड़ा भी नहीं!

    यह भी पता था आधा क्लास उसी के पीछे पड़ने वाला है फिर भी मैं आत्मविश्वास से भरपूर था!

    दिमाग बोले जा रहा था...  तुम मेरी हो.... सुमन!

    धीरे-धीरे दिन बीतते गए क्लास रूम में मेरी उस पर हर हरकत पर मेरी नजर रहती थी!

    और हर एक लड़के पर भी कि कौन उसे देख रहा है, अब तक उसका नेचर जान चुका था,

    बिल्कुल रंगीन, शालीन दुनिया से हटकर  थी सकारात्मक विचारों वाली, न मोबाइल का शौक न internet की!

    स्कूल वाला प्यार school love की इस मदोहोस में मेरा दिमाग खोया खोया सा रहने लगा हालांकि मैं थोड़ा शेयर मिजाज का था....

    उसकी हरकत पर कभी कभी शायरी भी बोल दिया करता था और दोस्त भी वाह-वाह रपेट देते थे!

    कुमार सानू और मोहम्मद रफी के गाने सुनने और गुनगुनाने की आदत सी हो गई थी!

    But लेकिन school love story में अभी तक मैं अपनी दिल की बात न कह पाया था!

    11th की वार्षिक परीक्षा खत्म हो गई 4 अपने चार सेक्शन में से 800 बच्चे में से अपने 20 में से मेरे सेशन के कुल  मुझे लेकर कुल दो लड़के थे!

    जिसमें मेरा 13 वाँँ  और मेरे दोस्त का 18 वाँँ स्थान था!

    जिससे मेरा स्टेटस बढ़ चुका था और क्लास रूम में सभी लोग थोड़ा इज्जत से देखते है!

    टीचर हम दोनों के लिए ताली बजवाई मेरी नजरें बस उसी को निहार  रही थी!

    अब लोग मेरी ओर देखकर ताली बजा रहे थे इसी बीच मेरी नजरें सुमन से लड़ जाती और मेरा दिल जोर से धड़क उठता था!


     School life love के कुछ पल


    School love story में "अब शायद वह भी  मुझे नोटिस करने लगी थी मै उसे propose करना चाहता था!

    मैंने यह बात अपनी एक छिछोरे दोस्त से कहा  उसने कहा चल चलते हैं इंटरवेल हो चुका था वो क्लास रूम में अकेले ही बैठी थी यह अच्छा मौका था!

    तभी उस दोस्त ने एक लड़की से कुछ कहा.. शायद कोई कमेंट बाजी कर रहा था वह लड़की खरी-खोटी सुनाकर आगे बढ़ गई!

    मैंने तुझ से पूछा तेरी gf थी वो??  उसका जवाब था नहीं यह सब करते सुमन ने हमें देख लिया था!

    मुझे बहुत शर्मिंदगी महसूस हो रही थी गेहूं के साथ घुन भी पिस चुका था!

    वो हमें देखकर गर्दन नीचे किए सिर हिलाया जा रही थी!

    शायद वह मेरा school love story को आकलन कर रही थी मैं खुद की नजरों में गिर चुका था!

    बचपन का दोस्त था छिछोरा दोस्त जिसे कुछ बोल भी नहीं सकता था!

    लेकिन मैंने उसे ऐसा आगे ना करने के लिए  वार्निंग दे दी, उसे भी दुख था!

    एक दिन छिछोरे से कहा यार उसके बारे में कुछ पता करके बताना, दूसरे दिन उसके पास बस एक इंफॉर्मेशन थी लेकिन जो भी थी बहुत बड़ी थी!

    उसे इंप्रेस करने का school love story में उससे अच्छा कोई तरीका नहीं था!

    मेरे दोस्त के मुताबिक उसे लिखना बहुत पसंद था और स्कूल की वार्षिक परीक्षा में कविता देने वाली थी!

    मैं आज बहुत खुश था क्योंकि उस समय  भी चंद कविताएं मैं भी कर लेता था!

    मैंने भी एक अच्छी क्वालिटी वाली कविता अच्छी खासी फोटो सहित पत्रिका के लिए दे दी!

    महीने भर बाद पत्रिका सबके हाथों में थी पत्रिका के मेरे हाथों आते ही जल्दी-जल्दी उसकी कविता का पन्ना खोजा!

    ऊपर उसकी हल्की धुंधली सी तस्वीर उसके नीचे सुमन नाम क्लास 12th B2


     Hindi school love हिंदी स्कूल लव के सुनहरे लड़कप


    बारिश पर लिखी गई एक कविता... थी थोड़ी बच्चे वाली टाइप की थी...!

    पर बार-बार उसकी कविता को पड़ता हर बार क्लास में अच्छे कविताएं और लेखों की तारीफ हो रही थी! मैंने भी थोड़ी अच्छी लिखी थी तो मेरी भी!

     सुमन वही किताब खोली... बैठी थी मैं उसकी तरफ देख.. रहा था!

     तभी उसने मेरी तरफ देखा मुझे यह समझने में देरी नहीं लगी कि वह मेरी ही कविता पढ़.... रही है मैं भी उसी की रचना खोल... बैठा था!

    School love story वह कुछ सेकेंड तक मुझे देखती रही और मैं भी उसे, वह मुस्कुराए और मैं भी मुस्कुराया!

    आज दिल बाग बाग हो गया था फिर इंटरवेल हुआ! 

    अपने क्लास में मैं और छिछोरा दोस्त और कुछ लड़कियां थी!

    आगे बेंच पर बैठे पत्रिका पढ़ रहे थे और यह जिसने रचनाएं दी थी उसे पहचाना जा रहा था!

     अरे यह तो अखिल है न बे 12B1... का पक्का चोरी करके दी होगी ... अबे यह कमी ना संजीव कब से लेख लिखने लगा वह भी गरीब पर..!

    अमीर बाप की बिगड़ी औलाद सबको निशाने पर लिए जा रहे थे तभी सुमन क्लास में आई हम चुप हो गए!

    School love story for reading  बेंच पर लिखते ही कहा अच्छा लिखते हो  हर्षवर्धन बहुत अच्छा मैंने उसे मैंने उसे thanks बोला, मेरे दिल के तार बजने लगे..

    बेटा लपेट के और  बताइयो, तभी एक लड़की ने कहा हर्षवर्धन तुम शायरी भी बहुत अच्छा करता है ऐसा क्या!

    लड़की-- अरे पता नहीं क्या तुमको तुम्हारे ऊपर ज्यादा करता है! 

    यह सुनके सुमन चुप हो गई... मेरा मुंह शर्म से लाल हो गया!

    शायद सुमन को कुछ कुछ समझ में आने लगा था लेकिन वह अभी चुप थी!

     मैंने परिस्थिति को संभालते हुए कहा अरे सुमन वो बहुत फर्जी बोलती है... उसकी बातों पर ध्यान मत दो!


     New school love की तरह बेपनाह मोहोब्बत


    वैसे तुम्हारी कविता भी लाजवाब है उसने मुझे धन्यवाद देते हुए कहा तुम्हारी बहुत अच्छी थी!

    मैंने कहा-- अच्छा सही में....? मुझे तो नहीं लगता उसने भी मेरी बात दोहरा दी अच्छा मुझे भी नहीं लगता!

     हम दोनों कुछ देर तक चुप रहे कुछ देर बाद खिलखिलाते भी हंसने लगी मेरी हंसी तो वैसे ही सियार जैसी थी!

    लेकिन उसकी हंसी तो इतनी सुरेली और दिल में घंटी बजाने वाली थी कि बिन बादल बरसात ओर बिन घटा मोर नाचने लगे!

    यूं ही हम school love story पल  लगभग 10 मिनट तक बात करते रहे!

    जब स्कूल की छुट्टी हुई तो बस के पास साइकिल निकाल कर खड़ा था उसे देखने के लिए!

    वह आई बस में चढ़ी और चली गई आज मेरा दिल उछल उछल  के धड़क रहा था!

    तेज धोबी बर्फीली ठंड का एहसास दिला रही थी!

    आज पता नहीं कौन सी आंतरिक शक्ति साइकिल चला रही थी... क्या चढ़ाव, क्या ढलान कुछ नहीं  सूझ रहा था!

    कुमार सानू का वह गीत पहला है पहला प्यार सोनी को मेरी अंतरात्मा बिल्कुल स्पष्ट सुन रही थी school love story.

    उसी का चेहरा आंखों में समाया हुआ था रास्ते में कौन आ रहा है कौन जा रहा है कोई सुध नहीं!

    घर पहुंचा हाथ मुंह धोकर खाना खाया और लव सॉन्ग की लिस्ट प्ले बना के सुनता रहा!

    उसी स्कूल में अब रोज बात होती उसे कभी-कभी अपनी कविता सुना था तो कभी शायरी और कभी वो भी! 

    अपनी बोर्ड एग्जाम होने को 1 महीने बच गए थे स्कूल भी बंद होने वाला था!

     शायद हम दोनों की मुलाकात एक महीने बाद होने वाली थी!


     Love story school की कुछ यादें...


     घर जाते वक्त हम दोनों मिले और आने वाली एग्जाम के लिए बेस्ट ऑफ लक कहा उसने भी मुझे ये भी कि दिमाग सिर्फ पढ़ाई पर लगाना!

    कुछ दिन कविता शायरी बंद कर दो वह मुस्काई बाय बोला और बस में बैठ गई ...

     मैं बगल में खड़ा था और वह खिड़की में से देख रही थी शायद उसे एहसास हो चुका था कि मैं उससे प्यार करता हूं!

     आज मैं बहुत उदास था और शायद वह भी वह चली गई और मैं एकटक  निगाहों से देखता रहा..

    मेरी आंखों में आंसू... थे और तभी छिछोरे आया और ढांढस बांधने लगा!

     Then फिर मैं यह सोच कर खुश हो गया कि एग्जाम होने के 1 दिन बाद तो सबको स्कूल आना ही है..

    स्कूल लव के उस दिन हमें अच्छी रिजल्ट की शुभकामनाएं और और अच्छे भविष्य के लिए हिदायत देने के लिए बुलाया गया था!

    किताबों और उसकी यादों की कशमकश की यादों में एग्जाम खत्म हो गई सभी पेपर अच्छे गये थे, मैं बहुत  था!

    हफ्ते भर बाद स्कूल जाना था मैं बेचैन था नींद गायब थी और भूख भी कम लगती थी!

    दिमाग कल्पनाओं के समंदर में गोते खा रहा था.. 
    ...सुमन आएगी उस दिन क्या वह सारी में होगी या किसी और लिबास में..!

    Love story school के वो वक्त आखिर वह दिन आ ही गया रात को जैसे-तैसे 2:00 बजे सोया था और रात को 4:00 बजे ही उठ गया !

    7:00 का टाइम था जल्दी नहा धोके हल्का फुल्का नाश्ता किया! आज जींस और चेक शर्ट में स्कूल जाने वाला था!

     कायदे से Deo लगा के आज अपनी बाइक CD delux  उठाई और सुबह 6:00 बजे निकल गया!

     क्योंकि आज सारे दोस्तों से विदा होने वाला था  वैसे भी मन भावुक
    ..... था!

     High school love की खूबसूरत लम्हें


    10 मिनट में स्कूल पहुंच गया और छिछोरा वहीं खड़ा था, School love story.

    बाइक से उतर कर उसे गले मिला और एग्जाम के बारे में हाल-चाल बातचीत किए!

    उसने पेट में गड्ढे होते हुए कहा क्या बात है आज बड़ा सज धज के निकला है क्या बात है....?

    मैंने उससे कहा चुप कर कुछ भी बोलता है  बहुत से दोस्तों से मुलाकात हो गई बस आने का टाइम हो गया था!

    दिल की धड़कन बढ़ रही थी कभी-कभी यह स्कूल लव स्टोरी सोच कर घबरा रहा था कि वह आएगी भी या नहीं... फिर उसे कहने लगता कि नहीं ऐसा नहीं होगा..!

    वह जरूर आएगी मैं बालकोनी में चला गया ताकि उसकी पुरानी अंदाज में उसे देख सकूं जैसा मैं उसे पहली बार देखा था!

     बिल्कुल उसी जगह खड़ा था अभी मैं इस कन्फ्यूजन में था अभी वह क्या पहन के आएगी बाकी लड़कियां खूब सज धज के आई हुई थी!

    तब तक कुछ दूर बस दिखी हां वह पांच नंबर है मेरी खुशी का ठिकाना नहीं रहा बस रुकी सारे 12th के स्टूडेंट थे!

    मैं लगातार देखे जा रहा था कि वह कब निकलती है... वह निकली वही स्कूल की ड्रेस पहन के.. school love story.

    आंखों में वही चमक, वही दमकता चेहरा, वही शालीनता.. भला उसे किस सज्जा सज धज की जरूरत थी!

    ऐसा लग रहा था मानो तो साल पहले की घटना दोहरा रही है वही हवा के झरोकों को महसूस कर रहा था!

     उसकी नजरें ऊपर उठी मैंने उसको देखा और उसने मुझे मैंने ऊपर से ही बोला.. हाय सुमन कैसी हो?

    उसने कहा पहले नीचे तो आओ पंखी वह बहुत खुश दिख रही थी!

     मैं दौड़ा नीचे आया बिल्कुल उसके सामने आ गया जी कहूं उसके बाहों में भर के गले लगा लूं...❤️❤️


    Cute school love  की बेपनाह लम्हें


    दिल ❤️ जोरों से धड़क रहा था उसने पूछा एग्जाम कैसा गया..

    मैंने कहा एकदम खराब उसने कंधे पर हाथ रखकर कहा चल झूठे  तुम्हारा और खराब सुमन ने कहा- बड़े स्मार्ट लग रहे हो?

    तुम भी बहुत खूबसूरत लग रही हो हमेशा की तरह और हम एक साथ हंस पड़े!

    स्कूल का कार्यक्रम खत्म होने के बाद बोला गया कि 1 घंटे बाद स्कूल छुट्टी कर दिया जाएगा!

    आज शायद आखिरी दिन था पता नहीं इसके बाद कब मुलाकात होगी!

    यही सोच कर आज हमने आमने सामने बैठे आज नीचे करके आया था कि आज मैं अपनी दिल की बात कहूंगा!

    लेकिन समय बीत रहा था मैं बोल नहीं पा रहा था उसकी भी हालत मेरी ही जैसी थी शायद वह भी मुझसे यही कहना चाहती थी!

    School love story के शायद वही मैं उससे स्कूल में बीते हुए पुरानी यादों को याद कर रहा था आंखों से आंखें मिली हुई थी!

    हम एक दूसरे की बातें पता थी लेकिन बस जवानी बातें कहनी थी लेकिन जो अब बहुत कठिन प्रतीत हो रहा था!

    बातें करते-करते आंखें भर आई थी तभी अनाउंस किया गया कि जिसे बस से जाना है जल्दी बस में बैठ जाएं!

     यह सुनते ही मेरा दिल बाहर निकल जाएगा मैं कांप रहा था ऐसा लग रहा था दिल की बात दिल में ही रह जाएगी!

    मैंने कहा जाने दो ना बस को मैं तुम्हें बाइक में छोड़ दूंगा घर तक!

    School love story में उसने कहा मुझे कोई दिक्कत नहीं कोई और देख लेगा तो क्या सोचेगा पता नहीं मैं क्यों उससे बात नहीं कर पाया!

    बस में बैठने के लिए फिर एक बार एनाउंसर किया गया अब चलना होगा ये सोच के चले गई!


     School time love  की दुखद पल


    उसकी आंख नम थी...मैं मन ही मन रो रहा था मैं सोच रहा कि अभी मैं उसकी आँखों को को अपनी हांथों से पोछ दूँ और बाहों में भर लूँ..

     वह जाने लगी जैसे मैं हरासमेंट का शिकार होने लगा, धड़कन रुक सी गई थी!

     वह स्कूल के गेट पर पहुंच चुकी थी मुझसे अब रहा नहीं जा रहा था मैंने आवाज लगाई... सुमन रुको जरा!
    यह सुनते ही सुमन ने अपने पांव वापस खींच लिये मैं जल्दी में लड़खड़ाते मैं उसके पास गया अब मैं निश्चय कर लिया था!

    School love story इस बार बोल कर रहूंगा वह गेट के पास खड़ी थी मैं उसके पास गया... करीब बिल्कुल करीब गया मैं पूरा शरीर कांप रहा था!

     मैं एक झटके में कह दिया हूं! मैं तुमसे बहुत प्यार करता हूं  मेरी नजरे झुकी हुई थी!

    मुझे उसकी जवाब का इंतजार था  आखिरकार उसका जवाब आया.....मैं भी!

     हम शांत थे  हम नजर से नजर  नजर मिलाई... और कहां पूरा बोलो ना उसने कहा मैं भी तुमसे बहुत प्यार करती हूं!

    यह सुनते ही ऐसा प्रतीत हुआ मानो मैं हवा में उड़ रहा हूँ, लग रहा था बहुत बड़ा school love story का बोझ हट गया है दिल से!

    जी कर रहा था कल से गले लगा लूं लेकिन कुछ लड़के आ रहे थे इसलिए ऐसा ना कर सका हम दोनों school love story में बहुत खुश थे! 

    वह बस में बैठने के लिए जाने लगी आंखों के आंसू पोचतें...

    क्या यह मिलन था...  दो दिलों ❤️❤️का?? यह कैसा मिलन था,

    जब एक दूसरे से मिलने की संभावनाएं धुंधली हों.. लेकिन हम संतुष्ट थे वह बस में बैठी खिड़की से निहार रही थी!

     मैं चुपचाप खड़ा देख रहा था बस स्टार्ट होते ही मेरे आंख से आंसू आ गए...!


     स्कूल लव स्टोरी अलविदा वक्त....? Short school love story


     बस चल पड़ी अब सब शांत...था कुछ देर यूं ही बाइक में बैठा रहा.. छिछोरा आया...

    मैं बिना कुछ कहे गले लगा लिया वह समझ गया कहानी school love story बन गई लौंडे की!

     उसने कहा पार्टी कब दे रहा है बे...? मैंने कहा ले लेना बे...

    उसने कहा फोन नंबर ले लिया या एड्रेस यह सुनते ही मैं सुन्न पड़ गया!

    उसे जाते वक्त तो मैं उसे निहारता ही रहा ये सब चीजों पर ध्यान ही कहां रहा...!

    शायद उसके साथ भी यही वह इसी बीच एक उम्मीद स्कूल वाला प्यार की घड़ी जगी....!

    हां वह अपना रिजल्ट जरूर लेने आएगी छिछोरे ने कहा बेवकूफ आशिक उस दिन जरूर मांग लेना!

     रिजल्ट मिलने की एक दिन पहले कशमकश जारी थी... कि क्या वह रिजल्ट लेने आएगी?

     रिजल्ट लेने देर से पहुँचा  छिछोरे बोला मैं भी अभी आ रहा हूं सुमन कहीं नहीं दिख रही थी!

     रिजल्ट देते हुए  शाबाशी देते हुए कहा बहुत अच्छा नंबर है तुम अच्छे से पढ़ना आगे तुम्हारा 89 % थे!

    लेने के बाद साइन करने लगा अपने रजिस्टर में तो देखा कि सुमन के कॉलम के आगे टिक लगा है और किसी का सिग्नेचर लगा है..?

    एक समय के लिए लगा जैसे दिल धड़कने बंद हो गया है सर से पूछा सुमन आई थी, school love story.

    उसने कहा नहीं- रिजल्ट नहीं उसके नानाजी आये थे!
     नानाजी? सर ने कहा वहा नाना जी के घर में रहती थी!

    उसका घर दिल्ली में है अब घर चली गई  मैं रिजल्ट लेकर बाहर आ गया उसकी एक सहेली से पूछा...

    उसके पास फोन नहीं था इसलिए उसका नंबर या एड्रेस किसी के पास नहीं है!

    सिद्धत भरी मोहब्बत धूमिल होती दिख रही थी!


    आप सब सामान्य था या असामान्य मुझे कुछ समझ नहीं आ रहा था!

    उससे दोबारा मिलने की सारी तमन्ना है खत्म हो रही थी!

     Conclusion मोहब्बत का आखरी लम्हा


    बेचैनी school love story ने घेर लिया था ऐसा लग रहा था जैसे ऑक्सीजन की कमी हो रही है!

    सही से सांस नहीं ले पा रहा था सब कुछ बर्बाद प्रतीत हो रहा था!

    चिचोरा आया मेरे कंधे पर हाथ ठोक के  बिना कुछ कहे चुपचाप वह घर चला गया मैं भी घर चला गया!

    दिमाग में तरह-तरह के प्रश्न उठा रहे थे...?

    कहीं सुमन का प्यार गलत तो नहीं था मजा या झूठा तो नहीं था!

    लेकिन दिल इस school love story बात की कोई गवाही नहीं दे सकता!

     वह खुशी झूठी नहीं थी.....

     वह हंसी छुट्टी नहीं थी....

     वह आंसू झूठे नहीं थे....

    फिर हो प्यार का इकरार कैसे झूठा हो सकता है!

    आज इस घटना को 3 साल हो चुके हैं तब से फिर मुलाकात ना हुई... कभी-कभी सपनों में दिख जाती है!

    आज भी कभी कभी सुमन ना  फेसबुक में रिक्वेस्ट आती है तो दिल झन्ना उठता  है!

    पागलों की तरह उसकी फेसबुक प्रोफाइल चेक करता हूं.... लेकिन मेरी सुमन नहीं होती है...?

    शायद किसी और की नए सत्र भी शुरू हो चुके होंगे शून्य संभावनाएं भी एक बार जरूर जाता हूं!

    School love story के सिर्फ और सिर्फ यादों को जीवन रखने के लिए... उसी बालकोनी में खड़ा हो इधर उधर कुछ देर देखता  हूं!

    उसकी निशानी के नाम पर वही पत्रिका में छपे एक धुंधली तस्वीर  और कविता है!

    उसकी धुंधली तस्वीर देख कर डर जाता हूं कहीं यादों में भी उसकी तस्वीर धुंधली ना हो जाए....

    बड़ी शिद्दत से मोहब्बत की थी जिससे दिन आज भी कहता है कि वह आएगी एक दिन जरूर....!








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